काले धन वाले हो जाएं सावधान ; पढ़िए
काले धन वाले अब होंगे बेनकाब
स्विट्जरलैंड की सरकार ने भारत सरकार को बैंक खातों से जुड़ी पहली जानकारी सौंपी
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सेवा भारत टाइम्स ब्यूरो
नई दिल्ली। स्विट्जरलैंड की सरकार ने भारत सरकार को बैंक खातों से जुड़ी पहली जानकारी सौंप दी है। सरकार की ओर से स्विस बैंक में खुले भारतीय खातों की जानकारी सरकार को सौंपी है। भारत कुछ चुनिंदा देशों में से एक है जिन्हें ये जानकारी मिल रही है।
स्विट्जरलैंड की सरकार से मिली खातों की जानकारी अगले साल भारत को मिलेगी और भी जानकारी विदेशी धरती से काले धन की जानकारी मिलने के मामले में मोदी सरकार को बड़ी कामयाबी मिली है। स्विट्जरलैंड की सरकार ने भारत सरकार को बैंक खातों से जुड़ी पहली जानकारी सौंप दी है। स्विट्जरलैंड की ओर से स्विस बैंक में खुले भारतीय खातों की जानकारी सरकार को सौंपी है। भारत कुछ चुनिंदा देशों में से एक है जिन्हें ये जानकारी मिल रही है।
स्विट्जरलैंड के टैक्स विभाग के अनुसार, इसके बाद भारत सरकार को अगली जानकारी 2020 में सौंपी जाएगी। जानकारी के अनुसार, स्विट्जरलैंड में दुनिया के 75 देशों के करीब 31 लाख खाते हैं जो रडार पर हैं, इनमें भारत के कई खाते भी शामिल हैं।
स्विट्जरलैंड की सरकार से जानकारी मिलने के बाद सरकार के सूत्रों का कहना है कि जो जानकारी मिली है उसमें सभी खाते गैरकानूनी नहीं हैं। सरकारी एजेंसियां अब इस मामले में जांच शुरू करेंगी, जिसमें खाताधारकों के नाम, उनके खाते की जानकारी को बटोरा जाएगा और कानून के हिसाब से एक्शन लिया जाएगा।
विदेश में जमा काला धन वापस हिंदुस्तान लाना मोदी सरकार के लिए बड़ा मुद्दा रहा है, फिर चाहे वो 2014 का चुनाव हो या फिर 2019 का चुनाव, जानकारी बटोरने के लिए सरकार की ओर से लगातार स्विट्जरलैंड की सरकार से संपर्क भी किया जा रहा था। अब काले धन के खिलाफ इस लड़ाई में मोदी सरकार को अब जाकर कामयाबी मिली है।
इससे पहले जून 2019 में स्विस नेशनल बैंक की ओर से जारी रिपोर्ट में बताया गया था कि स्विस बैंकों में भारतीयों के द्वारा जमा राशि में गिरावट आई है।2018 के आंकड़ों के अनुसार, भारतीयों का अब 6757 करोड़ रुपये ही स्विस बैंकों में जमा है।हालांकि, इसमें से कितना काला धन है और कितना नहीं, इसकी जानकारी स्विस बैंकों की ओर से नहीं दी गई थी।
पिछली रिपोर्ट में भी ये सामने आया था कि स्विट्जरलैंड द्वारा भारत को सौंपी गई जानकारी में इतनी तो सूचना है कि वहां बैंकों में पैसा रखने वालों के खिलाफ मजबूत केस तैयार किया जा सके। स्विट्जरलैंड की सरकार की तरफ से हर उस खाते में लेन-देन का पूरा विवरण दिया गया था, जो कि 2018 में एक भी दिन सक्रिय रहे हों।